भारतीय खिलाड़ी ऋद्धिमान साहा को अभी भी सफेद गेंद क्रिकेट टीम में आने का भरोसा है। महेंद्र सिंह धोनी के टेस्ट टीम से संन्यास के बाद रिद्धिमान साहा इस प्रारूप में भारत के नियमित कीपर बन गए। सफेद गेंद क्रिकेट में महेंद्र सिंह धोनी के रहते ऋद्धिमान साहा सहित अन्य कई खिलाड़ियों को बाहर ही बैठना पड़ा। दिनेश कार्तिक भी ऋद्धिमान साहा की तरह सफेद गेंद क्रिकेट में टीम से बाहर रहे।
दीपदास गुप्ता के साथ एक शो पर ऋद्धिमान साहा ने कहा "मैं बचपन से ही छोटे प्रारूप का फैन रहा हूँ। अगर मुझे फेवरेट प्रारूप के बारे में पूछा जाएगा तो मैं वनडे, टी20 और टेस्ट कहूँगा। मुझे विपरीत क्रम में मौका मिला। मैंने हमेशा यही सोचा कि मुझे जो भी टास्क दिया जाए, टीम के लिए मुझे इसे पूरा करना है। अब भी मैंने छोटे प्रारूप में भारत के लिए खेलने की उम्मीद नहीं छोड़ी है। जब भी कोई ऐसा मैच हो, जिस पर मेरा सलेक्शन निर्भर करता हो, मैं उसमें बढ़िया प्रदर्शन जरुर करूंगा।
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ऋद्धिमान साहा नियमित टेस्ट विकेटकीपर
महेंद्र सिंह धोनी ने टेस्ट क्रिकेट से 2014 में संन्यास लिया था। तब से लेकर अब तक ऋद्धिमान साहा भारतीय टीम में नियमित टेस्ट विकेटकीपर के तौर पर खेले हैं। भारत के लिए 37 टेस्ट मैच खेलने वाले इस खिलाड़ी ने 1200 से ज्यादा रन बनाए हैं। बल्लेबाजी से ज्यादा इनके विकेट के पीछे काम को सराहा जाता है।
ऋद्धिमान साहा ने टी20 प्रारूप को अपना पसंदीदा बताया है। उन्होंने आईपीएल में खेलते हुए एक शतक भी जड़ा है। इससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि ऋद्धिमान साहा को टी20 क्रिकेट कितना पसंद है। उनकी बल्लेबाजी में तेजी और विभिन्न शॉट हैं। वह बड़े शॉट लगाने में भी बखूबी सक्षम हैं। देखना होगा कि भारतीय टीम के लिए सफेद गेंद में खेलने की उनकी हसरत पूरी होती है या नहीं।