भारतीय टीम से बाहर चल रहे स्टार बल्लेबाज युवराज सिंह इस समय वापसी के लिए काफी मेहनत कर रहे हैं और उन्होंने साफ कर दिया है कि वो 2019 से पहले रिटायरमेंट नहीं लेने वाले हैं। युवी के मुताबिक उनकी वापसी काफी हद तक कोच और कप्तान के ऊपर ही निर्भर करती है।
विजय हजारे ट्रॉफी में भी युवराज सिंह का प्रदर्शन काफी शानदार रहा। उन्होंने 7 मुकाबलों में 264 रन बनाए, जिसमें उनका सर्वाधिक स्कोर 96 का रहा। इस बीच उन्होंने गेंद के साथ भी जरूरत पड़ने पर अपना योगदान दिया।
युवराज सिंह ने भारतीय टीम में वापसी को लेकर CricketNext के साथ बातचीत में कहा, "मुझे 2019 तक क्रिकेट खेलने का जो मौका मिलेगा, मैं खेलूंगा। टीम में चयन होना मेरे हाथ में नहीं है, मैं सिर्फ मेहनत करते हुए और सुधार ही कर सकता हूं। पिछले साल टीम से ड्रॉप होने के बाद मैंने काफी मेहनत की है और मैं बस क्रिकट पर ही फोकस कर रहा हूं। हर कोई इस समय विश्वकप के लिए टीम में युवा खिलाड़ियों को मौका देने के लिए बात कर रहा हैं। हालांकि यह पूरी तरह से चयनकर्ता, कोच और कप्तान का फैसला है।"
पिछले साल यो-यो टेस्ट में फेल होन के कारण उन्हें टीम से बाहर कर दिया गया था। इसके बाद युवी ने टेस्ट को पास तो किया लेकिन घरेलू क्रिकेट और आईपीएल में बेहद निराशाजनक प्रदर्शन के बाद उनकी वापसी की कोशिश को झटका लगा। इसके बाद युवराज सिंह ने पहले इंग्लैंड में जाकर ट्रेनिंग की और अब वो पहले से भी ज्यादा फिट नजर आ रहे हैं।
हालांकि इस बीच उन्होंने साफ कर दिया है कि जबतक उनकी जररूत नहीं होगी, तबतक वो इस साल रणजी ट्रॉफी में भी नहीं खेलेंगे। युवी ने कहा, "मैं अगर चार दिवसीय मुकाबले खेलता हूं, तो अनमोलप्रीत सिंह और शुबमिन गिल जैसे खिलाड़ियों के साथ अच्छा नहीं होगा, क्योंकि उन्हें बाहर बैठना पड़ सकता है। उनका चयन अगर इंडिया ए के लिए होता है, तो मैं कुछ मैच खेल सकता हूं। मुझे विश्वकप खेलना है, इसलिए मैं किसी युवा खिलाड़ी की जगह नहीं लेना चाहता। मैं अब घरेलू टी20 टूर्नामेंट खेलना की तैयारी कर रहा हूं और देखते हैं क्या होता है।"
भारतीय टीम के लिए अभी भी 4 नंबर का स्पॉट अभी खाली है। हालांकि युवी के लिए टीम में जगह बना पाना काफी मुश्किल नजर आ रहा है, लेकिन देखना होगा कि क्या टीम मैनेजमेंट एक बार फिर उनके ऊपर विश्वास दिखाती है या नहीं।