# 2 घरेलु समर्थन की कमी
इस बात से इंकार नही किया जा सकता कि भारत के 2011 विश्व कप जीतने का एक बड़ा कारण यह था कि यह भारत में आयोजित किया गया था। घरेलू समर्थन ऐसे बड़े टूर्नामेंट में बड़ा किरदार निभाता है और इस बार इंग्लैंड में भारतीय टीम को उसकी कमी खलने वाली है।
इस चुनौती से भी बड़ी बात यह है कि घरेलू टीम इस साल कप के लिए पसंदीदा है। इंग्लैंड पिछले दो वर्षों में उच्च दर्जे की टीम रही है। उन्होंने पिछले डेढ़ साल में एक भी वनडे सीरीज नहीं गंवाई है। उनके पास घर पर एक प्रभावशाली रिकॉर्ड है और निश्चित रूप से वे घर के समर्थन का उपयोग करेंगे।
इस बीच भारत का इंग्लैंड में अच्छा रिकॉर्ड नहीं है। उन्होंने 2018 में खेली गई एकदिवसीय श्रृंखला गंवाई थी और टेस्ट श्रृंखला भी गंवा दी। हालांकि इस बात से कोई इनकार नहीं करता है कि भारत को भीड़ से काफी समर्थन मिलेगा, मगर जब बात सेमीफाइनल की हो या भारत और इंग्लैंड के बीच मैच कि तो दर्शकों का समर्थन निश्चित रूप से घरेलू टीम को ही मिलता है।