आईपीएल 2020 (IPL 2020) का आधा या कहें तो उससे ज्यादा का सीजन बीत गया है। टीमों के बीच प्लेऑफ़ में पहुँचने के लिए दौड़ चल रही है और फैन्स भी अपनी-अपनी टीमों को प्लेऑफ़ में देखना चाहते हैं। टूर्नामेंट के अंतिम चरण में नेट रन रेट (Net Run Rate) काफी अहम हो जाती है। टूर्नामेंट के अंतिम दौर में सभी टीमें कम जोखिम लेना चाहती है लेकिन बड़े अंतर से मैचों को जीतना पसंद करती हैं।
हालांकि नेट रन रेट का नाम सुनकर मुश्किल होने के बारे में नहीं सोचना चाहिए। नेट रन रेट की गणना करना काफी आसान काम है। इस आर्टिकल में यही बताया गया है कि IPL 2020 में नेट रन रेट कैसे देखी जाती है।
IPL 2020 में नेट रन रेट की गणना कैसे होती है?
आईपीएल में एक मैच की नेट रन रेट निकालने के लिए प्रति ओवर रन देखे जाते हैं। उदाहरण के लिए कोलकाता नाइटराइडर्स और रॉयल चैलेंजर्स बैंगलोर का मैच यहाँ लेते हैं। केकेआर ने 20 ओवर में 84 रन बनाए थे और उनका औसत 4.2 रन प्रति ओवर था। इसके बाद आरसीबी ने बल्लेबाजी करते हुए 13.3 ओवर में 85 रन बनाकर मैच जीत लिया और उनका औसत 6.39 रन प्रति ओवर था। अब आरसीबी के औसत में से केकेआर (6.39-4.2) के औसत को घटाने पर आरसीबी की नेट रन रेट आ जाएगी। यहाँ आरसीबी का नेट रन रेट प्लस में 2.19 होगा और केकेआर का नेट रन रेट माइनस में 2.19 होगा। मैच में अगर कोई टीम 20 ओवर खेले बिना आउट हो जाती है, तो प्रति ओवर रनों का औसत पूरे 20 ओवरों में से निकाला जाएगा लेकिन लक्ष्य का पीछा करते हुए कोई टीम कम ओवर खेलती है, तो औसत खेले गए ही ओवरों में से निकाला जाएगा।
पूरे टूर्नामेंट में एक टीम का नेट रन रेट कुल खेले गए ओवर और कुल बनाए गए रन से निकलेगा। उदाहरण के लिए एक टीम ने 3 मैचों में कुल 60 ओवर खेले और 300 रन बनाए। इसमें टीम का औसत 5 रन प्रति ओवर आया। अब उस टीम के खिलाफ खेलने वाली 3 टीमों ने अगर 60 ओवर में 240 रन बनाए हैं, तो उनका कुल औसत 4 का आता है। यहाँ एक टीम के बनाए गए रनों के औसत में से विपक्षी टीमों के रनों का औसत घटा देंगे। इस तरह 5 में से 4 घटाने पर 1 आता है और यह प्लस 1 टूर्नामेंट में टीम का नेट रन रेट है।
बारिश आने पर औसत और नेट रन रेट अलग तरह से निकाले जाते हैं। नेट रन रेट में प्रति ओवर रन रेट को देखा जाता है। यही कारण है कि बड़े अंतर से जीतने वाली टीमों का नेट रन रेट प्लस में रहता है और ज्यादा भी रहता है।