डेविड वॉर्नर-युजवेंद्र चहल घटना पर संजय मांजरेकर ने दी बड़ी प्रतिक्रिया

संजय मांजरेकर ने एलईडी स्‍टंप्‍स के साथ गिल्लियों के उपयोग पर ऐतराज जताया है
संजय मांजरेकर ने एलईडी स्‍टंप्‍स के साथ गिल्लियों के उपयोग पर ऐतराज जताया है

राजस्‍थान रॉयल्‍स (Rajasthan Royals) और दिल्‍ली कैपिटल्‍स (Delhi Capitals) के बीच हाल ही में आईपीएल 2022 (IPL 2022) का मुकाबला खेला गया था। तब युजवेंद्र चहल (Yuzvendra Chahal) की गेंद पर डेविड वॉर्नर बोल्‍ड हो गए थे, लेकिन गिल्‍लियां नहीं गिरी तो बल्‍लेबाज को नॉटआउट दिया गया।

भारतीय टीम के पूर्व बल्‍लेबाज संजय मांजरेकर ने इस विषय पर अपनी राय प्रकट की है। मांजरेकर ने आग्रह किया है कि आधुनिक क्रिकेट में गिल्लियों से दूरी बना लेनी चाहिए।

ईएसपीएनक्रिकइंफो के शो टी20 टाइम आउट पर बातचीत करते हुए मांजरेकर ने कहा, 'मैं यही बात पहले भी कह चुका हूं। एलईडी स्‍टंप्‍स पर गिल्लियां लगाने की जरूरत नहीं है। चहल ने गजब की गेंदबाजी की और वो उस विकेट को लेने हकदार थे। वॉर्नर ने खराब शॉट खेला था, लेकिन उन्‍हें जीवनदान मिल गया। जब तक गिल्लियों का सही उपयोग नहीं होता, उनसे दूरी बना लेनी चाहिए क्‍योंकि एलईडी तकनीक के साथ उसकी कोई आवश्‍यकता नहीं है।'

बता दें कि राजस्‍थान और दिल्‍ली के बीच बुधवार को मैच खेला गया था। चहल ने पारी के 9वें ओवर में वॉर्नर को बोल्‍ड कर दिया था। गेंद ने लेग स्‍टंप को छुआ, लेकिन गिल्‍ली नहीं गिरी। वॉर्नर को भाग्‍य का साथ मिला और उन्‍होंने नाबाद 52 रन बनाकर दिल्‍ली को विशाल जीत दिलाई।

मांजरेकर ने कहा कि गिल्‍लियों को हटा देना चाहिए ताकि तकनीक के साथ खेल आगे बढ़ सके। उन्‍होंने कहा कि सेंसर से फैसला लेना आसान हो गया है क्‍योंकि स्‍पष्‍ट पता चल जाता है कि गेंद स्‍टंप्‍स पर लगी है कि नहीं, तो गिल्‍लियों की क्रिकेट से विदाई कर देनी चाहिए।

मांजरेकर ने सवाल किया, 'पहले का समय अलग था। तब स्‍टंप पर गेंद लगती थी तो गिल्‍ली नीचे गिरती थी। मगर अब आपके पास सेंसर है। आप जानते हैं कि गेंद स्‍टंप्‍स पर लगी है तो फिर गिल्लियों की क्‍या जरूरत?'

पूर्व भारतीय क्रिकेटर का मानना है कि तकनीक के जुड़ने से खेल में दिक्‍कतें बढ़ेंगी जबकि गिल्लियां हटाना आसान है। हालांकि, उन्‍होंने स्‍वीकार किया कि इस बदलाव को अपनाना आसान नहीं होगा।

मांजरेकर ने कहा, 'मुझे पता है कि ऐसा नहीं हो सकता क्‍योंकि हम कई चीजें बदलने में विश्‍वास नहीं रखते हैं। हमने कुछ नियम बदले हैं, लेकिन कुछ चीजें नहीं हो सकती।'

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Edited by Vivek Goel