विश्व कप में अपने देश का प्रतिनिधित्व करना हर खिलाड़ी का सपना होता है। ज्यादातर खिलाड़ी एक या दो विश्व कप ही खेल पाते हैं। इसके पीछे कई वजहें होती है जैसे कि फिटनेस, फाॅर्म और खिलाड़ी का चोटिल हो जाना। आज हम ऐसे ही दो खिलाड़ियों की बात करने जा रहे हैं जिन्होंने विश्व कप 2003 में अपने देश का प्रतिनिधित्व किया था और विश्व कप 2019 में भी अपने देश का प्रतिनिधित्व कर रहें है।
आइये बात करते हैं उन दोनों खिलाड़ियों के बारे में, जिन्होंने अपने खेल से अभी तक अपनी-अपनी टीमों में अपना स्थान बनाये रखा है-
1. क्रिस गेल
39 वर्षीय क्रिस गेल एक ऐसे खिलाड़ी हैं जिन्होंने क्रिकेट की बुक में अपना चैप्टर सबसे अलग लिखा है। वो अपने आप को खुद यूनिवर्स बाॅस बुलाते हैं। इनकी आक्रामक शैली के बारे में हर टीम जानती है इसलिए हर टीम इनको शुरू में ही आउट करना चाहती है क्योंकि अगर क्रिस गेल लम्बा खेल गये तो मैच अपने दम पर खत्म कर सकते हैं। अपना पांचवां विश्व कप खेल रहे क्रिस गेल ने टूर्नामेंट शुरू होने से पहले ही बोल दिया था कि ये उनका आखिरी विश्व कप है और वो इस विश्व कप में बहुत खतरनाक फाॅर्म के साथ उतरे हैं। इसी साल इंग्लैंड से घरेलू पांच मैंचो की वनडे सीरीज के दौरान क्रिस गेल ने अपनी ताबड़तोड़ पारियों से (जिनमें दो शतक और दो अर्धशतक भी शाामिल हैं) विश्व क्रिकेट को आश्चर्यचकित कर दिया था।
क्रिस गेल उन चुनिंदा बल्लेबाजों में से एक हैं जिन्होंने वनडे में 10,000 से ज्यादा रन 38.2 की औसत से बनाये हैं। अगर क्रिस गेल अपने ही अंदाज में खेले तो विश्व कप में सबसे घातक बल्लेबाज साबित हो सकते हैं और विश्व कप में वेस्टइंडीज को विश्व कप के फाइनल तक भी पहुँचा सकते है।
विश्व कप में प्रदर्शन की बात करें तो क्रिस गेल ने 27 मैचों में 36.81 की औसत से 994 रन बनाये हैं, जिसमें साल 2015 विश्व कप में क्रिस गेल द्वारा बनाया दोहरा शतक भी शामिल है।
Hindi Cricket News, सभी मैच के क्रिकेट स्कोर, लाइव अपडेट, हाइलाइट्स और न्यूज़ स्पोर्ट्सकीड़ा पर पाएं
2. मशरफे मोर्तजा
मशरफे मोर्तजा एक ऐसे खिलाड़ी और कप्तान हैं, जो अपने जज्बे और हिम्मत के लिए जाने जाते हैं। जब से मोर्तजा ने बांग्लादेश की कप्तानी संभाली है, तब से बांग्लादेश एक ऐसी टीम बनी है, जिसने भारत और दक्षिण अफ्रीका को पहली बार सीरीज हराई है और बांग्लादेश को चैम्पियन्स ट्राॅफी में सेमी फाइनल तक भी पहुँचाया है। एशिया कप में अपनी टीम को फाइनल में भी पहुंचाया है। जब तक मशरफे मुर्तजा कप्तान हैं, कोई भी टीम इन्हें हल्के में नहीं ले सकती। 2003 विश्व कप की बांग्लादेश की टीम में खेलने वाले मोर्तजा चोट के कारण विश्व कप 2011 में नहीं खेल पाये थे।
35 वर्षीय मशरफे मोर्तजा एक बेहतरीत गेंदबाज होने के साथ-साथ, लम्बे हिट मारने के लिए भी जाने जाते हैं। मोर्तजा ने बांग्लादेश के लिए 209 वनडे मैचों में 265 विकेट लिए हैं। मशरफे अपनी दिलेरी से बांग्लादेश टीम से सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन निकलवाते हैं और अगर ऐसा होता है तो बांग्लादेश निश्चित तौर पर सेमीफाइनल तक भी पहुँच सकती है। दक्षिण अफ्रीका को उनकी टीम विश्वकप 2019 में हरा भी चुकी है। मशरफे मोर्तजा ने विश्व कप में कुल 16 मैच खेले हैं और18 विकेट लिये हैं।