कनाडा के स्ट्राइकर इयान ह्यूम भारत के फुटबॉल फैंस के बीच काफी प्रसिद्धी हासिल कर चुके हैं। हालांकि ISL के पहले सीजन में केरला ब्लास्टर्स से जुड़ने से पहले ह्यूम का करियर काफी उथल-पुथल भरा रहा। गेंद को स्ट्राइक करने की कमाल की क्षमता वाले इस खिलाड़ी ने इंग्लिश लीग में विभिन्न क्लब्स के लिए खेलते हुए काफी संघर्ष किया है। अपने इस संघर्ष के दौरान ह्यूम लीग टू के क्लब फ्लीटवुड टाउन में शामिल हुए। लेकिन उनको स्ट्राइकर की पोजिशन में काफी पीछे रखा गया। उन्हें 36 नंबर की शर्ट देना इसी बात का प्रमाण था। इस क्लब के लिए खेले 16 मैचों में से, कनाडा के इस स्ट्राइकर ने केवल एक मैच में ही स्कोर किया। फुटबॉल के अपने दिशाहीन करियर के साथ ह्यूम ने भारत में ISL से जुड़ने का फैसला किया। पहले ही सीजन में वो केरला के प्रमुख स्ट्राकर बन गए और लीग में छा गए। उनके शानदार खेल की बदौलत केरला फाइनल में जगह बनाने में कामयाब रहा। आईएसएल के पहले सीजन में ह्यूमे न 16 मैचों में 5 गोल दागे। भारत में मिली सफलता को देखते हुए वो फिर लीग टू में अपनी पहली टीम से जुड़े, लेकिन उनका परफॉर्मेंस बेहद खराब रहा। ISL के दूसरे सीजन में उन्हें चैंपियन एटलेटिको डी कोलकाता ने साइन कर लिया। फिर क्या था उन्होंने अपने बेजोड़ खेल से लीग के इस दूसरे संस्करण में तहलका मचा दिया। उन्होंने कोलकाता के लिए 16 मैचों में 13 बार स्कोर किया। ह्यूम, ISL के सभी सीजन मिलाकर अभी तक के सबसे ज्यादा गोल करने वाले खिलाड़ी हैं। पहले कनाडा, फिर इंग्लिश लीग में बेहद संघर्ष भरे सफर के बाद इस खिलाड़ी को ISL ने नई पहचान दिलाई। इस बात के लिए ह्यूम ISL के शुक्रगुजार होंगे।