दूधी घास का इस्तेमाल औषधि के रूप में होता आ रहा है। यह बहुत फायदेमंद घास होती है। इस घास के पौधे का भी उपयोग उपचार और औषधि के रूप में किया जाता है। यह स्वाद में कड़वी होती है और यह अपनी मंद-मंद खुशबू के लिए मशहूर है। दस्त, मुंहासे, दमा, शुगर, खुजली, गंजापन आदि जैसी बीमारियों में दूधी घास का इस्तेमाल किया जाता है। यह लेख दूधी घास के फायदे और नुकसान के बारे में है। आइये इस विषय को और विस्तार से जानें।
दूधी घास के 7 फायदे और 3 नुकसान
दूधी घास के फायदे : Benefits Of Doodhi Ghas In Hindi
1. सुबह-शाम दूधी घास को पीसकर पानी के साथ मिलाकर पीने से अतिसार की बीमारी ठीक हो सकती है।
2. आँतों के स्वास्थ्य, पेट की समस्या और पेचिस जैसी बीमारियों के लिए दूधी घास का सेवन फायदेमंद माना गया है।
3. नाक से खून निकलने की स्थिति में दूधी का चूर्ण बनाकर मिश्री के साथ सेवन करने से लाभ मिलेंगे।
4. चेहरे के मुंहासों के लिए, दूधी घास के पौधे से प्राप्त किये गए दूध का इस्तेमाल चेहरे व त्वचा पर करने से कील-मुंहासों की समस्या ठीक हो जायेगी।
5. बालों के झड़ने की समस्या हो या गंजेपन की, दूधी घास बहुत सहायक है। बालों का झड़ना रोकने के लिए दूधी घास का रस और कनेर के पत्तों का रस का मिश्रण बनाकर बालों और जड़ों में लगाने से फायदे मिलेंगे।
6. खांसी जुकाम की समस्या होने पर दूधी घास से बने काढ़े का सेवन फायदेमंद है। यह काढ़ा आप दमे की बीमारी में भी ले सकते हैं। इसके सेवन से कुछ ही दिनों में आराम देखने को मिलेगा।
7. आयुर्वेद के अनुसार, डायबिटीज होने पर दूधी से बनी दवा का सेवन लाभदायक माना जाता है।
दूधी घास के नुकसान : Side-Effects Of Doodhi Ghas In Hindi
1. दूधी घास के स्वाद में कड़वी होने के कारण, हर कोई इसका सेवन आसानी से नहीं कर पता है।हृदय रोगियों के लिए दूधी घास का सेवन वर्जित है।
2. कुछ लोगो को इसके सेवन के बाद असुविधा भी हो सकती है, प्रेगनेंसी में इसका सेवन ना करें।
3. इसके सेवन के बाद उलटी-दस्त होने की संभावना बढ़ सकती है।
अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है। यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है। अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें। स्पोर्ट्सकीड़ा हिंदी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है।