Ayurvedic Treatment for Dengue in hindi: बारिश का मौसम शुरू होते ही मौसमी बीमारियों के साथ ही डेंगू और मलेरिया का भी खतरा बढ़ जाता है। एडीज एजिप्टी प्रजाति की मादा मच्छरों के काटने से डेंगू बुखार होता है। डेंगू का समय पर इलाज कराना बेहद जरूरी होता है वरना भयानक होने पर पीड़ित व्यक्ति की मौत भी हो सकती है। डेंगू होने पर कई सारे लक्षण नजर आते हैं जैसे- उल्टी में खून आना, थकान, लगातार उल्टी, मसूड़ों से खून आना, गंभीर पेट दर्द होना, तेज बुखार आना इत्यादि इसके लक्षण हैं। शुरुआती समय में इसका इलाज घरेलू उपचारों के जरिए किया जा सकता है।
ऐसे करें डेंगू का 4 आयुर्वेदिक इलाज
डेंगू में पपीते के पत्तों से कैसे मिलता है लाभ (Papaya leaves for Dengue)
डेंगू के आयुर्वेदिक उपचार की शुरुआत हम पपीते से करते हैं। पपीते के पत्ते इसमें काफी प्रभावी माने गए हैं। पपीते के पत्ते के जरिए डेंगू के लक्षणों को कम करने के साथ ही ये शरीर में इम्यूनिटी बढ़ाने और प्लेटलेट्स काउंट को भी बढ़ाने में मदद करता है। डेंगू में पपीते के पत्तों का रस पिलाना चाहिए। इससे कम हुआ प्लेटलेट्स काउंट ऊपर आता है।
डेंगू में मेथी के लाभ (Benefits of Fenugreek leaves for dengue)
दूसरा आयुर्वेदिक उपचार मेथी है। मेथी भी डेंगू में काफी असरकारी मानी गई है। मेथी की पत्तियां डेंगू मरीजों के जोड़ों में होने वाले दर्द और मांसपेशियों के दर्द से राहत दिलाने का काम करती हैं। साथ ही शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है। इसके लिए रात में मेथी के पत्तों को पानी में भिगोकर रखें और सुबह उठकर पानी छानकर पी जाए। कुछ ही दिनों में इसमें फर्क नजर आने लगेगा।
डेंगू में पीएं नारियल पानी (drink coconut water in dengue)
नारियल पानी पीना वैसे भी हमारी सेहत के लिए काफी फायदेमंद होता है। यह शरीर को कई सारे लाभ पहुंचाता है। लेकिन, डेंगू होने पर इसका सेवन जरूर करना चाहिए। डेंगू में उल्टियां ज्यादा होती हैं जिसके चलते शरीर में पानी की मात्रा कम जाती है। ऐसे में नारियल पानी मरीज के शरीर में डिहाइड्रेशन नहीं होने देता है।
डेंगू में करे नीम के जूस का सेवन (Consume neem juice in dengue)
नीम के पेड़ का हर एक अंग औषधी से भरा हुआ है। आयुर्वेद में इसके हर एक भाग को कई समस्याओं के उपचार के लिए इस्तेमाल में लिया जाता है। डेंगू में भी नीम के पत्तों का सेवन करने की सलाह दी जाती है। इसके सेवन से शरीर में वायरस के विकास और प्रसार को रोकने में मदद मिलती है। इसके साथ ही ये प्रतिरक्षा को बढ़ाकर प्लेटलेट्स काउंट को बढ़ाने में मदद करता है। इसके लिए नीम की पत्तियों को पानी में उबाल लें और फिर छान कर नियमित रूप से इसका सेवन करें।
अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है। यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है। अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें। स्पोर्ट्सकीड़ा हिंदी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है।