सोने के बाद अक्सर लोग चांदी को सबसे ज्यादा पसंद करते हैं। इसका उपयोग अक्सर लोग गहने बनाने में करते हैं। चांदी की तसीर ठंडी होती है। आयुर्वेद में भी चांदी का बहुत महत्व है क्योंकि इससे औषधि तैयार की जाती है। चांदी में नौ गुण बताएं गए हैं। चांदी की भस्म के फायदे कई होते हैं। यह एक प्रकार की आयुर्वेदिक दवा है। जिसका उपयोग कई बीमारियों को दूर करने के लिए किया जाता है। जानते हैं चांदी की भस्म से होने वाले फायदों के बारे में ।
चांदी की भस्म के फायदे - Benefits Of Chandi Ki Bhasma In Hindi
लकवा मारने पर -
अगर किसी को लकवा मार जाता है तो इस बिमारी को सही करने के लिए एक ग्राम चांदी के भाग का चौथा हिस्सा शहद में मिलाकर सुबह शाम खाना चाहिए। इससे लकवा के रोगियों को देने से पुराने से पुराना लकवा भी ठीक हो जाता है।
कमरदर्द के लिए -
कमर दर्द की समस्या होने पर चांदी की भस्म का सेवन करना चाहिए। इसके लिए लगभग 1 ग्राम का चौथा भाग चांदी की भस्म, वंशलोचन और लगभग 1 ग्राम इलाइची दाने का चौथा भाग शहद में मिला लें। इसका सेवन आप सुबह शाम करें, आपको फर्क खुद ही नजर आने लगेगा।
पीरियड्स और मेनोपॉज के लिए -
महिलाओं के लिए पीरियड्स और मेनोपॉज की समस्या को दूर करने के लिए चांदी की भस्म लाभकारी होती है।
पुरुषों के लिए -
चांदी की भस्म पुरुषों के लिए बहुत असरदार होती है। यौन शक्ति की कमी में इसका इस्तेमाल किया जा सकता है। वीर्य विकार, शुक्राणुओं की संख्या कम होना आदि में भी यह लाभकारी होती है।
पेट के रोगों के लिए -
पेट की समस्या सही समय पर ठिक करनी बहुत जरूरी होती है। इसके लिए चांदी भस्म भूख कम लगना, सीने में जलन, एसिडिटी, फैटी लीवर आदि में भी यह गुणकारी होती है।
न्यूरोलॉजिकल रोगों के लिए -
अगर किसी को सिर दर्द, माइग्रेन, ब्रेन सेल्स का सही से काम न करना, भूलने की बीमारी आदि समस्या है, तो ऐसे में चांदी की भस्म गुणकारी होती है।
अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है। यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है। अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें। स्पोर्ट्सकीड़ा हिंदी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है।