आज कल लगभग हर कोई अपने जीवन में तरह-तरह का दबाव महसूस करता है और अवसाद तो अब लोगों में आम सा होने लगा है, इसलिए ज़रूरी है ये जानना की अवसाद से कैसे निपटा जाए ?
मानसिक स्वास्थ को स्वस्थ बनाये रखने के सभी तरीकों को छोड़ अगर हम इनमे से कुछ तरीकों पर भी काम कर लेते हैं, तो ये हमे काफी फायदा पंहुचा सकता है.
चलिए फिर शुरू करते हैं, निम्न दिए गए बिन्दुओं पर ध्यान दें:
प्रकृति के करीब रहें:
यह वैज्ञानिक रूप से सिद्ध है कि शांत प्रकृति में समय बिताने से तनाव, चिंता, अवसाद और दोहराव वाले विचार कम होते हैं और ध्यान लगाने में मदद मिलती है।
पक्षियों और जानवरों के लिए भी एकांत अच्छा माना गया है, क्योंकि यह उन्हें संवाद करने, साथियों को आकर्षित करने और खतरे को भांपने में मदद करता है।
शांत प्रकृति के सकारात्मक स्वास्थ्य लाभों का अनुभव करने के लिए, अपने पास एक शांत पार्क में जाएँ।
अच्छी नींद लें:
सबसे पहले डिप्रेशन दूर करने के लिए आठ घंटे की नींद लें। नींद पूरी होगी तो दिमाग तरोताजा होगा और नकारात्मक भाव मन में कम आएंगे। सकारात्मक उर्जा का संचालन होगा और आप प्रफुलित महसूस करेंगे.
सूरज की रौशनी लें (Sun Bath):
प्रतिदिन सूरज की रोशनी में कुछ देर जरूर रहें। इससे अवसाद की जड़ें कमज़ोर होती है और शरीर में मौजूद नकार्मकता नष्ट होती है. साथ ही ये आपको अच्छे विटामिन्स और मिनरल्स भी देता है. जो आपका शरीर स्फूर्तिदायक बनाता है.
बाहर टहलने जाएं (Go for a walk):
दिन में एक बार ज़रूर 15 मिनट का ब्रेक लें और टहल कर आयें. टहलना आपके विचारों को शुद्ध और गहरा बनाता है. ये आपके शरीर में मौजूद खून का संचरण भी ठीक रखता है.
अपने काम का पूरा हिसाब रखें:
आप दिन भर में जो भी काम करते हैं, उसका हिसाब जरूर रखें. ये आपको और आपके दिमाग को व्यवस्तित बनाये रखने में मदद करता है. और ऐसा करने से आप कभी भी कुछ नही भूलते. ये आपकी याददाश्त को भी सचेत रखने में आपकी मदद करता है.
ध्यान व योग को दिनचर्या में शामिल करें:
मानसिक स्वास्थ के लिए ध्यान लगाने से अच्छा कुछ हो ही नही सकता. ध्यान से हमे वो सब मिल सकता है जिसकी हम कल्पना कर सकते हैं. ये आपके लिए लाभकारी साबित होता है. इसके साथ ही, अगर हम अपनी दिनचर्या में थोडा योगा भी शामिल करलें तो ये सोने पर सुहागा साबित होता है.
अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है। यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है। अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें। स्पोर्ट्सकीड़ा हिंदी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है।