रजोनिवृत्ति (Menopause) और मानसिक स्वास्थ्य के बीच क्या है संबंध?

What is the connection between menopause and mental health
रजोनिवृत्ति (Menopause) और मानसिक स्वास्थ्य के बीच क्या है संबंध?

आप समझ रहें हैं! क्यूंकि हम सब जानते हैं, की जब किसी महिला के पीरियड्स का आना बंद होने लगते हैं, तब वो कैसा महसूस करती है. किसी भी महिला के लिए ये एक अटपटा एहसास है. क्यूंकि पीरियड्स के बंद होते ही वो कई तरह के रजोनिवृत्ति के लक्षणों से जूझ रही होती है. जो उसके मानसिक स्वास्थ को भी हिला देता है. अब सबसे ये जान लेते हैं की रजोनिवृत्ति आखिरकार क्या है.

क्या है रजोनिवृत्ति?

रजोनिवृत्ति किसी भी महिला के जीवन का वो बिंदु है, जब उसे मासिक धर्म नहीं होता है। इस स्तर पर, आपके अंडाशय में अंडो का निर्माण होना बंद हो जाता है और उनके अधिकांश एस्ट्रोजन का उत्पादन करना बंद कर देता है। रजोनिवृत्ति का आरम्भ तब होता है जब किसी महिला को लगातार 12 महीनों तक मासिक धर्म नही होता ।

रजोनिवृत्ति के शुरुवाती लक्षण क्या हैं?

1. अनियमित पीरियड्स

2. रात को पसीना छुटना

3. अनिद्रा

4. मूड में बार-बार बदलाव होना.

5. योनि का सूखापन

6. यौन सम्बंधित परेशानी होना.

रजोनिवृत्ति और मानसिक स्वास्थ में सम्बन्ध:

रजोनिवृत्ति आमतौर पर 40 वर्ष की आयु के बाद होती है, और यह उम्र बढ़ने का एक नियमित हिस्सा है। कभी-कभी, सर्जरी, हिस्टेरेक्टॉमी या कीमोथेरेपी के कारण रजोनिवृत्ति जल्दी हो सकती है। इस चरण के दौरान एस्ट्रोजन के स्तर में गिरावट से व्यक्ति को ऐसा महसूस हो सकता है कि वे हर दिन प्रीमेंस्ट्रुअल सिंड्रोम (पीएमएस, जिसमे आपका मिजाज बिगड़ा हुआ , सूजे स्तन, भोजन की लालसा, थकान, चिड़चिड़ापन और अवसाद सहित विभिन्न प्रकार के संकेत और लक्षण का आभास रहता है ) की स्थिति का सामना करना पड़ता है.

भावनात्मक परिवर्तन भी रजोनिवृत्ति का हिस्सा हैं, जिनमें: अवसाद, चिंता, प्रेरणा की कमी, चिड़चिड़ापन, थकान, तनाव और तनाव, साथ ही साथ मूड में बदलाव शामिल है। ये बदलाव व्यक्ति को चिड़चिड़ा और असहाय महसूस करा सकते हैं। शोध से पता चलता है कि रजोनिवृत्ति तक पहुंचने वाले लगभग 20 प्रतिशत महिलओं में इस दौरान अवसाद होता है। मासिक धर्म के संक्रमण से पहले, दौरान और बाद में मासिक धर्म के दौरान पैनिक अटैक और चिंता का अनुभव होने की संभावना अधिक होती है.

मानसिक स्वास्थ को रजोनिवृत्ति के दौरान स्थिर बनाये रखना एक सबसे बड़ी कठिनाई साबित होती है, हाला की अगर डॉक्टरों को माने तो वो ऐसे में एक रेगुलर इलाज़ का सहारा लेने की सलाह देते हैं, पर रजोनिवृत्ति होना एक प्राकृतिक समस्या है तो इसका हल भी प्राकृतिक हो सकता है विशेषज्ञों का मानना है, की रजोनिवृत्ति के दौरान अगर महिलाएं योग का साथ दें और ये अपने दिनचर्या में शामिल कर लें तो ये बेहद फायदेमंद हो सकता है. इसके अलावा वें खुद को उनकी पसंद के किसी कार्य या हौबी में व्यस्त रखकर भी अपने स्वास्थ को मजबूत रख सकती है. आप शाकाहारी भोजन का सेवन करने को ही प्राथमिता दें. साथ ही परिवार वालों और बच्चों या घरेलू जानवरों से बोन्डिंग करना भी आपके मूड को हल्का और स्वस्थ बनये रखने में आपकी मदद करेगा.

अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है। यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है। अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें। स्पोर्ट्सकीड़ा हिंदी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है।

Edited by वैशाली शर्मा
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