एलिमिनेशन चैम्बर WWE का वार्षिक शो होता है जिसमें रिंग के इर्द गिर्द एक विशाल चेन से बना स्टील स्ट्रक्चर होता है। इसकी शुरुआत साल 2002 में उस समय मंडे नाइट रॉ के जनरल मैनेजर एरिक बिशफ ने की थी। अब तक कुल 20 एलिमिनेशन चैम्बर मैचे हो चुके हैं।
इस साल WWE महिलाओं के लिए एलिमिनेशन चैम्बर मैच आयोजित कर के इतिहास रचने जा रही है। वहीं इस साल पुरुषों के एलिमिनेशन चैम्बर मैच में छह की जगह सात रैसलर होंगे। इस साल का चैम्बर मैच 25 फरवरी को लास वेगस के टी मोबिल एरीना में आयोजित होगा। ये रहे इस इवेंट से जुड़े कुछ अनसुने फैक्ट्स।
#4 एलिमिनेशन चैम्बर की रचना के पीछे ट्रिपल एच थे
स्टोरीलाइन के अनुसार ऐसा कहा जाता है कि रॉ के पूर्व जनरल मैनेजर एरिक बिशफ ने एलिमिनेशन चैम्बर की शुरुआत की लेकिन असलियत में इसके पीछे ट्रिपल एच का हाथ था। कई मौकों पर ट्रिपल एच ने भी इस बात को स्वीकार किया है।
लेकिन ट्रिपल एच ने ये भी बताया कि उनकी सोच की तुलना से आज का चैम्बर दोगुना बड़ा है। एलिमिनेशन चैम्बर को पहली बार देखने के बाद ट्रिपल एच ने कुछ ऐसा कहा था,"हम कोई भी काम छोटा नहीं करते, ये बात मुझे समझनी चाहिए। जब मैंने इसे पहली बार देखा तो हैरान रह गया। किसी को ये न बताना की ये मेरा आईडिया था।"
#3 20 में से 16 एलिमिनेशन चैम्बर मैचेस, ख़िताबी मैच रहे हैं
अब तक कुल 20 एलिमिनेशन चैम्बर मैचेस हो चुके हैं जिनमें से 16 मैचेस ख़िताबी मैच थे। इस साल का चैम्बर मैच पांचवां इवेंट होगा जो किसी ख़िताब के लिए नहीं लड़ा जा रहा।
इसके पहले साल 2008 के दो एलिमिनेशन चैम्बर मैच ख़िताबी मैच थे। 2008 के रॉयल रम्बल विजेता जॉन सीना ने रैसलमेनिया के जगह नो वे आउट पर अपने ख़िताबी मैच की मांग की। इसके अलावा दूसरे दो मौके साल 2011 और 2013 के चैम्बर मैच में देखने मिला जिसे जॉन सीना और जैक स्वैगर ने जीता।
वहीं साल 2015 के एलिमिनेशन चैम्बर मैच में इंटरकॉन्टिनेंटल चैंपियनशिप और टैग टीम चैंपियनशिप डिफेंड की गई थी।
#2 इसका डिज़ाइन पिछले साल बदला गया
साल 2017 के एलिमिनेशन चैम्बर में दर्शकों ने चैम्बर के बनावट में भारी बदलाव देखा। चैम्बर गोलाकार की जगह शार्प एज वाला स्क्वायर शेप में था। चैम्बर के ऊपर बड़ा सा WWE का लोगो था तो वहीं पॉड्स के ऊपर LED लाइट्स लगी थी।
इसकी दूसरी विशेषता ये थी कि चैम्बर में रिंग के बाहर फ्लोर पर पैडिंग लगी थी। एलिमिनेशन चैम्बर को करियर खत्म करने वाला खतरनाक खेल कहा जाता है और ऐसे में इस तरह की पैडिंग पर दर्शकों ने सवाल खड़े किए। लेकिन फिर रैसलर्स की सुरक्षा भी ज़रूरी है।
#1 जर्मनी में 'एलिमिनेशन चैम्बर' को दूसरे नाम से बुलाया जाता है
जर्मनी में 'एलिमिनेशन चैम्बर' को दूसरे नाम से बुलाया जाता है। इसके पहले नो वे आउट पीपीवी पर होने वाले इस मैच का यही नाम हुआ करता था। लेकिन फिर 2003 से इसे 'नो एस्केप' कहा जाने लगा।
वर्ल्ड वॉर II के समय यहूदियों पर हुए खतरनाक गैस त्रासदी की घटना को याद न करने के उद्देश्य से ये कदम उठाया गया। इस घटना को जर्मनी में काले दिन के रूप में देखा जाता है और इसलिए WWE इससे अपने आप को जोड़ना नहीं चाहती।
लेखक: निखिल भास्कर, अनुवादक: सूर्यकांत त्रिपाठी