ब्रांड स्प्लिट के बाद से ही स्मैकडाउन लाइव और मंडे नाइट रॉ के बीच कंपटीशन चल रहा है। लेकिन यह WWE है इसलिए इन बातों पर ज्यादा ध्यान नहीं देना चाहिए। पिछले कुछ समय में स्मैकडाउन लाइव की वैल्यू रॉ ब्रांड की तुलना में बढ़ते जा रही है। आइए जानें ऐसे 4 कारणों के बारे में जो ये बताते हैं कि स्मैकडाउन लाइव अब WWE का 'ए' शो बन चुका है।
#4 दो घंटे का फॉर्मेट
रॉ की सबसे बड़ी दिक्कत यह है कि शो 3 घंटे तक चलता है। इससे रॉ में हमें खराब राइटिंग और भद्दे जोक्स दिखते हैं, इसलिए स्मैकडाउन लाइव उससे कई गुना अच्छा है। यह 2 घंटे तक चलता है और इसमें ज्यादा मजा आता है। इसमें चीजों को ज्यादा खींचने की जरूरत नहीं पड़ती और ज्यादा लंबे प्रोमोज नहीं होते। सबकुछ एकदम सही होता है। हाल ही में स्मैकडाउन लाइव के सुपरस्टार्स की बुकिंग भी काफी अच्छी तरीके से हो रही हैं।
#3 WWE टाइटल के लिए मुकाबले
स्मैकडाउन में WWE चैंपियन हमें हर हफ्ते शो में नजर आता है, लेकिन WWE के फ्लैगशिप शो रॉ में ऐसा नहीं होता। लोगों को वर्ल्ड चैंपियनशिप को मेन इवेंट में देखना पसंद है और रैसलर्स को भी इसके लिए लड़ना अच्छा लगता है। यही चीज़ हमें स्मैकडाउन में दिखती है। समय-समय पर हमें WWE चैंपियनशिप के लिए मुकाबला देखने को मिलता है। इस साल एजे स्टाइल्स ने अब तक 7 बार अपनी चैंपियनशिप डिफेंड की है।
#2 बड़े स्टार्स की मौजूदगी
रॉ में हमें गोल्डबर्ग और लैसनर जैसे बड़े स्टार्स देखने को मिलते हैं जो सिर्फ लंबे चेक उठाने के लिए आते हैं। वहीं स्मैकडाउन लाइव के रोस्टर में हमें रैंडी ऑर्टन, जैफ हार्डी, एजे स्टाइल्स, समोआ जो और कई फुल-टाइम रैसलर्स देखने को मिलते हैं। यही नियम ब्लू ब्रांड को रॉ से अच्छा बनाता है। यहां हमें हर हफ्ते बड़े-बड़े स्टार लड़ते हुए नजर आते हैं।
#1 हर सुपरस्टार को मिलता है मौका
स्मैकडाउन लाइव अब मौकों की धरती बन चुकी है। किसने सोचा था कि कई सालों तक एक जॉबर का काम करने वाले रुसेव को भी कभी वर्ल्ड चैंपियनशिप मैच में डाला जाएगा? रॉ में तो यह कभी संभव नहीं होता। वहीं स्मैकडाउन लाइव में हमें सैमी जेन, जिंदर महल, बिग ई जैसे सुपरस्टार्स को भी चैंपियनशिप मौके मिलते हैं। इससे स्मैकडाउन लाइव की वैल्यू बढ़ती है। लेखक- प्रसन्ना विकार, अनुवादक- ईशान शर्मा