WWE: WWE पिछले 4 दशकों से ज्यादा समय से प्रो रेसलिंग इंडस्ट्री के टॉप पर है और इस दौरान कंपनी ने पूरी दुनिया तक अपनी पहुंच बनाने की कोशिश की है। आज लगभग दुनिया के सभी देशों में प्रो रेसलिंग फैंस मौजूद हैं और इसी बढ़ते फैनबेस के कारण युवा भी रेसलिंग में आने के प्रति दिलचस्पी दिखाने लगे हैं।
इसी तरह एशियाई रेसलर्स भी समय-समय पर दुनिया के टॉप प्रमोशंस में अपने देश का परचम लहराते रहे हैं, लेकिन यहां के बहुत कम रेसलर्स WWE तक का सफर तय कर पाते हैं। इसलिए इस आर्टिकल में आइए जानते हैं उन 4 कारणों के बारे में जिनसे WWE को एशियाई सुपरस्टार्स के लिए किसी टूर्नामेंट का आयोजन जरूर करवाना चाहिए।
#)एशियाई देशों में WWE को प्रमोट करने के लिए
इस बात को नकारा नहीं जा सकता कि दुनिया में एशिया का प्रतिनिधित्व करने वाले अधिकांश रेसलर्स जापान के होते हैं क्योंकि यहां NJPW जैसा प्रमोशन लंबे समय से इस इंडस्ट्री में बना हुआ है। मगर अब भारत, सऊदी अरब, चीन के रेसलर्स भी इस खेल में अपनी छाप छोड़ने लगे हैं।
ये बात कई सालों से चर्चा का विषय बनी रही है कि WWE भारत में एक ट्रेनिंग सेंटर की शुरुआत कर सकती है, लेकिन अभी तक ऐसा हो नहीं पाया है। मगर एशिया में यदि नियमित रूप से अलग-अलग देशों में एक टूर्नामेंट का आयोजन करवाया जाए तो ज्यादा से ज्यादा युवा प्रो रेसलिंग में आने के प्रति दिलचस्पी दिखा सकते हैं, जिससे कंपनी को एशियाई देशों से भी टॉप टैलेंट मिल सकेगा।
#)सुपरस्टार्स को ज्यादा फेम मिलेगा
एक समय था जब WWE की पहुंच केवल अमेरिका और उससे सटे देशों तक सीमित थी। अमेरिकी और कनाडाई रेसलर्स इस प्रमोशन को डॉमिनेट किया करते थे, लेकिन समय बीतने के साथ कंपनी ने यूरोप, अफ्रीका और एशिया समेत अन्य महाद्वीपों तक भी अपनी पहुंच बना ली है।
रोमन रेंस, जॉन सीना और सैथ रॉलिंस जैसे कुछ चुनिंदा सुपरस्टार्स को पूरी दुनिया के लोग पहचानते हैं, लेकिन ये सभी अमेरिका से संबंध रखते हैं और उन्हें फेम मिलना इसलिए भी आसान होता है क्योंकि WWE के अधिकांश इवेंट्स अमेरिका में आयोजित होते हैं। इसलिए अगर एशिया में किसी टूर्नामेंट का आयोजन हो तो ना केवल एशियाई रेसलर्स बल्कि पश्चिमी देशों के रेसलर्स भी ज्यादा लोकप्रिय बन सकेंगे, जिससे आगे चलकर कंपनी को फायदा ही होगा।
#)एशिया की जनसंख्या को देखते हुए कंपनी की व्यूअरशिप में बढ़ोतरी हो सकेगी
दुनिया के सातों महाद्वीपों की बात करें तो क्षेत्रफल और जनसंख्या की दृष्टि से भी सबसे पहले स्थान पर एशिया आता है। इस पहलू को समझ पाना कोई मुश्किल काम नहीं है कि जहां ज्यादा लोग होंगे, वहां एक बार अपनी पैठ मजबूत कर लेने से कोई भी कंपनी मुनाफा कमा सकती है।
उसी तरह एशिया की जनसंख्या को देखते हुए यहां किसी टूर्नामेंट का आयोजन करवाना WWE के लिए निःसंदेह मुनाफे का सौदा साबित होगा, वहीं व्यूअरशिप और रेटिंग्स की दृष्टि से भी कंपनी अच्छा कर पाएगी। उदाहरण के तौर पर देखा जाए तो 2021 में Superstar Spectacle को 2 करोड़ से ज्यादा लोगों ने देखा था, जो इस बात का सबूत है कि भारत समेत अन्य देशों के फैंस अपने हमवतन रेसलर्स को देखना कितना पसंद करते हैं।
#)बहुत कम एशियाई रेसलर्स मेन इवेंट सीन पर पहुंच पाए हैं
जैसा कि हमने आपको बताया कि WWE दुनिया का सबसे बड़ा प्रो रेसलिंग प्रमोशन है, इसलिए यहां कम्पटीशन लेवल भी ज्यादा ही होगा। यही वजह है कि यहां मेंस या विमेंस रोस्टर के टॉप पर पहुंच पाना बहुत मुश्किल काम है और इतिहास में बहुत कम एशियाई रेसलर्स ऐसा कर पाए हैं।
द ग्रेट खली, ओस्का और जिंदर महल समेत कुछ ही एशियाई सुपरस्टार्स WWE चैंपियन बनने का गौरव हासिल कर पाए हैं, लेकिन वो भी निरंतर मेन इवेंट सीन पर नहीं बने रह पाए हैं। इसलिए एशिया के रेसलर्स के लिए एक टूर्नामेंट का आयोजन यहां के रेसलर्स की स्टार पावर को बढ़ाएगा, जिससे उन्हें मेन इवेंट सीन में प्रवेश करने में आसानी होगी।
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