भारतीय पुरुष बैडमिंटन टीम बैडमिंटन एशिया चैंपियनशिप के क्वार्टरफाइनल में हारकर बाहर हो गई है। टीम इंडिया को जापान ने बेहद नजदीकी मुकाबले में 3-2 से मात दी। निराशा की बात यह है कि निर्णायक मैच में एक समय भारत के किदाम्बी श्रीकांत जीत से महज दो अंक दूर थे, लेकिन वह अपनी सात अंकों की बढ़त को गंवा बैठे और भारतीय टीम सेमीफाइनल में जाने से चूक गई।
मलेशिया के सेलेनगोर में आयोजित हो रही एशियाई टीमों की चैंपियनशिप के इस क्वार्टरफाइनल राउंड में पहला मैच सिंगल्स का था जो भारत के एच एस प्रणॉय और जापान के केंता निशिमोतो के बीच हुआ। निशिमोतो ने एक घंटे तक चले इस मैच को 21-16, 26-24 से जीता। प्रणॉय ने विरोधी खिलाड़ी को कड़ी चुनौती दी, लेकिन पार नहीं पा सके। इसके बाद सात्विक साईंराज और चिराग शेट्टी ने अपना डबल्स मैच जीत भारत को 1-1 की बराबरी पर ला दिया। तीसरे मैच में लक्ष्य सेन ने कोकी वातानबे को 21-19, 22-20 से हराकर भारत को 2-1 से आगे कर दिया लेकिन एमआर अर्जुन और ध्रुव कपिला की जोड़ी दूसरा डबल्स मैच हार गई।
स्कोर 2-2 से बराबर होने के बाद निर्णायक मैच पूर्व विश्व नंबर 1 किदाम्बी श्रीकांत और जापान के केंतो मोमोता के बीच हुआ। श्रीकांत ने पहला सेट 21-17 से जीता जबकि मोमोता ने दूसरा सेट 21-9 से जीता। निर्णायक और तीसरे सेट में एक समय श्रीकांत 19-12 से आगे थे और उन्हें महज दो अंक चाहिए थे जिससे भारत सेमीफाइनल में पहुंच जाए। लेकिन यहां मोमोता ने बेहतरीन वापसी कर लगातार 8 अंक जीते और आखिरकार सेट 22-20 से जीत जापान को 3-2 से जीत दिला दी।
साल 2016 में पहली बार बैडमिंटन एशिया टीम चैंपियनशिप का आगाज किया गया था। भारतीय पुरुष टीम को इस टूर्नामेंट में साल 2016 और 2020 में सेमीफाइनलिस्ट बनने के रूप में ब्रॉन्ज मेडल प्राप्त हो चुके हैं लेकिन इस बार टीम खाली हाथ वापस लौटने वाली है।