क्रिकेट के हर फॉर्मेट में साझेदारी का अपना अलग एक महत्त्व होता है। टी20 और वनडे में में आपको एक-दो अच्छी साझेदारी भी मैच जिता सकती हैं लेकिन टेस्ट क्रिकेट में ऐसा कम ही होता है। टेस्ट क्रिकेट सबसे कठिन फॉर्मेट होता है और इसमें बड़ी-बड़ी साझेदारियां देखने को मिलती हैं। टेस्ट में टीमों की कोशिश एक बड़ा स्कोर बनाने की होती है क्योंकि जितना बड़ा स्कोर होगा विपक्षी टीम को उतनी ही कठिनाई होगी। बड़े स्कोर के लिए बल्लेबाजों के बीच अच्छी साझेदारियों का होना अति आवश्यक है।
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भारत (Indian Cricket Team) और ऑस्ट्रेलिया (Australia Cricket Team) टेस्ट में काफी सालों से एक-दूसरे के खिलाफ खेल रहे हैं और इस दौरान भारतीय बल्लेबाजों ने बड़ी-बड़ी यादगार साझेदारियां भी की है और टीम के लिए मैच जीतने में महत्वपूर्ण भूमिका अदा की है। वर्तमान समय में भारत ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ चार टेस्ट मैचों की सीरीज के लिए ऑस्ट्रेलिया में है और टीम पहला टेस्ट मैच काफी बुरी तरह से हारी है। पहले टेस्ट मैच की दूसरी पारी में कोई भी भारतीय बल्लेबाज साझेदारी नहीं बना पाए और इसका खामियाजा टीम को उठाना पड़ा। इस आर्टिकल में हम ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ टेस्ट में भारत की तीन सबसे बड़ी साझेदारी के बारे में चर्चा करेंगे।
ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ टेस्ट में भारतीय बल्लेबाजों की 3 सबसे बड़ी साझेदारी
#3 सचिन तेंदुलकर और वीवीएस लक्ष्मण (353), सिडनी, 2004
2004 में सिडनी में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ खेले गए चौथे टेस्ट मैच में भारत ने पहले टॉस जीतकर बल्लेबाजी का फैसला किया। भारतीय ओपनर्स ने भारत को अच्छी शुरुआत दिलाई। सहवाग और चोपड़ा ने 100 रन की साझेदारी की। इसके बाद भारत ने जल्द दो विकेट खो दिए। नंबर चार पर बल्लेबजी करने आये सचिन ने द्रविड़ के साथ 50 रन जोड़े। द्रविड़ 38 रन बनाकर आउट हो गए।
नंबर पांच पर बल्लेबाजी करने लक्ष्मण के साथ सचिन ने मिलकर भारत के लिए एक बेहतरीन साझेदारी निभाई। दोनों ने 603 गेंदों में 353 रन की ऐतिहासिक साझेदारी की। इस मैच में सचिन ने नाबाद 241 रन और लक्ष्मण ने 178 रन की पारी खेली थी।