इंग्लैंड के खिलाफ तीसरे वनडे में ग्लेन मैक्सवेल ने जबरदस्त शतकीय पारी खेली। उन्होंने सिर्फ 90 गेंद पर 108 रनों की पारी खेली। इसके अलावा एलेक्स कैरी के साथ छठे विकेट के 212 रनों की शानदार साझेदारी भी की, जिसकी वजह से ऑस्ट्रेलिया की टीम 302 का टार्गेट हासिल करने में सफल रही। ग्लेन मैक्सवेल ने अपनी इस पारी के बाद बड़ा बयान दिया है। उन्होंने कहा जब वो बल्लेबाजी के लिए आए तो ज्यादा कुछ बचा नहीं था, इसलिए उन्होंने खुलकर बल्लेबाजी की।
मैच के बाद पत्रकारों से बातचीत में ग्लेन मैक्सवेल ने कहा कि जब मैं बल्लेबाजी के लिए आया तो खोने के लिए ज्यादा कुछ बचा नहीं था। इसी वजह से मैंने खुलकर बल्लेबाजी की और गेंदबाजों पर दबाव डाल सका। मैंने छोटी बाउंड्री का अच्छा उपयोग किया और उसी दिशा में शॉट लगाए। इसके बाद एलेक्स कैरी के साथ हमारी पार्टनरशिप बननी शुरु हो गई। मुझे पता था कि एक बार अगर मैं पारी को आगे बढ़ाने लगा तो वो मुझे अलग तरह से गेंदबाजी करने लगेंगे।
ग्लेन मैक्सवेल ने आगे कहा कि अगर हम छठा विकेट जल्द गंवा देते तो फिर गेंदबाजों से उम्मीद करना कि वो मैच जिता देंगे वो काफी मुश्किल था। इसीलिए मेरे ऊपर दबाव नहीं था। एक बार जब हमारी साझेदारी आगे बढ़नी शुरु हुई तो हमें एक मोमेंटम मिल गया। मुझे अपनी टेक्निक पर भरोसा था।
ग्लेन मैक्सवेल और एलेक्स कैरी की साझेदारी ने दिलाई ऑस्ट्रेलिया को जीत
आपको बता दें कि ऑस्ट्रेलिया ने ओल्ड ट्रैफर्ड मैनचेस्टर में खेले गए तीसरे और आखिरी वनडे मुकाबले में इंग्लैंड को 3 विकेट से हरा दिया। पहले खेलते हुए इंग्लैंड ने निर्धारित 50 ओवरों में 7 विकेट पर 302 रन बनाए। जॉनी बेयरेस्टो ने शतक लगाया। जवाब में ऑस्ट्रेलिया ने इस लक्ष्य को ग्लेन मैक्सवेल और एलेक्स कैरी के शतकों की बदौलत 50वें ओवर में हासिल कर लिया।
लक्ष्य का पीछा करने उतरी ऑस्ट्रेलिया ने महज 73 रन तक 5 विकेट गंवा दिए थे। टॉप ऑर्डर का कोई भी बल्लेबाज बड़ी पारी नहीं खेल सका। इसके बाद ग्लेन मैक्सवेल और एलेक्स कैरी ने पारी को संभाला और छठे विकेट के लिए 212 रनों की मैराथन साझेदारी कर टीम को जीत दिला दी।
ये भी पढ़ें: आईपीएल में हर टीम के सबसे बेहतरीन सुपर ओवर बल्लेबाज और गेंदबाज