ईसीबी के प्रमुख कार्यकारी टॉम हैरिसन ने कहा कि शासकीय ईकाई अगले महीने शुरू होने वाली भारत टेस्ट सीरीज में सख्त बायो-बबल लागू नहीं करेगी।
श्रीलंका के खिलाफ वनडे सीरीज के बाद इंग्लैंड की टीम में सात कोविड पॉजिटिव मामले आए थे, जिसकी वजह से पाकिस्तान के खिलाफ वनडे सीरीज के लिए नई टीम की घोषणा करनी पड़ी थी।
भारतीय टीम के पांच मैचों की टेस्ट सीरीज की तैयारी के लिए डरहम में इकट्ठा होने से पहले उसके खेमे में दो पॉजिटिव मामले हैं। घरेलू क्रिकेट में भी कोविड मामले निकल चुके हैं। केंट को पिछले सप्ताह दूसरे दर्जे की टीम के साथ चैंपियनशिप मैच खेलना पड़ा। डर्बीशायर का एसेक्स के साथ मुकाबला केवल एक दिन बाद रद्द कर दिया गया क्योंकि एक पॉजिटिव मामला निकला और उसके संपर्क में आए लोगों को एकांतवास होना पड़ा।
इंग्लैंड में पिछले कुछ सप्ताह में कोविड-19 मामले तेजी से बढ़े हैं जबकि देश में पाबंदियों को लेकर राहत है। लगातार कोविड-19 मामले बढ़ने के बावजूद हैरिसन ने कहा कि इंग्लैंड के खिलाड़ियों की भलाई का मतलब है कि ईसीबी पिछली गर्मियों वाली सख्त बायो-सुरक्षित बबल व्यवस्था को दोबारा लागू नहीं करेगा, जिससे उनके घूमने और स्वतंत्रता पर पाबंदी लगी थी।
इस गर्मी में कमजोर पर्यावरण लागू किया गया है, जिसमें खिलाड़ियों को होटल के बाहर कुछ क्षेत्रों में एक्सरसाइज करने की अनुमति है। इसके अलावा वह अपने परिवार के साथ समय गुजार सकते हैं। दर्शकों को भी मैदान में आने की अनुमति दी है।
बायो-सुरक्षित बबल से परेशान थे खिलाड़ी
हैरिसन ने कहा, 'हम पिछले 12 महीने या 6 महीने की तुलना में अलग परिदृश्य में है कि हम कोविड से कैसे निपटते हैं। हम सीख रहे हैं कि इसके साथ कैसे जीना है और बायो-सुरक्षित पर्यावरण के बजाय लोगों के लिए सुरक्षित पर्यावरण बना रहे हैं। इन दोनों के बीच बड़ा फर्क है। बायो-सुरक्षित बबल से खिलाड़ी परेशान हो चुके थे। इससे खिलाड़ियों के मानसिक स्वास्थ्य पर असर पड़ रहा था। वह घर वालों से दूर थे। हम आगे बढ़ते हुए उस तरह का पर्यावरण नहीं बनाना चाहते हैं।'
यह कहना मुश्किल है कि आगामी सप्ताहों में होने वाली टेस्ट सीरीज, द हंड्रेड और रॉयल लंदन वनडे कप किसी चरण में कोविड से अप्रभावित रहेगी। हैरिसन ने पुष्टि कर दी कि फिलहाल किसी भी योजना को रद्द नहीं किया जाएगा।