भारतीय फुटबॉल टीम के पूर्व गोलकीपर प्रशांत डोरा का मंगलवार को दुर्लभ बीमारी के कारण निधन हो गया। कोलकाता मैदान के तीन बड़े क्लबों के लिए खेलकर अपनी साख बनाने वाले प्रशांत डोरा ने 44 की उम्र में आखिरी सांस ली। प्रशांत डोरा के घर में उनके 12 साल का बेटा आदी और पत्नी सौमी हैं। भारतीय फुटबॉल टीम और मोहन बगान के लिए गोलकीपिंग करने वाले प्रशांत डोरा के बड़े भाई हेमंत ने जानकारी दी कि दिसंबर में निरंतर बुखार के कारण प्रशांत का हेमोफागोकटिक लिंफोहिस्टिकोसिस (एचएलएच) का उपचार किया गया।
एचएलएच गंभीर प्रणालीगत भड़काऊ सिंड्रोम है जो संक्रमण या कैंसर जैसे प्रतिरक्षा प्रणाली के एक मजबूत सक्रियण का कारण बन सकता है।
हेमंत ने पीटीआई से बातचीत में कहा, 'प्रशांत डोरा का प्लेटलेट काउंट बहुत तेजी से कम हुआ और डॉक्टर्स ने बीमारी का पता करने में काफी समय लिया। बाद में प्रशांत का इलाज टाटा मेडिकल में हुआ। हम उन्हें लगातार खून दे रहे थे, लेकिन वह बच नहीं सका और आज दोपहर 1 बजकर 40 मिनट पर दम तोड़ दिया।'
भारतीय फुटबॉल टीम के पूर्व गोलकीपर प्रशांत डोरा की उपलब्धियां
प्रशांत डोरा भारत के लिए खेलने वाले भाईयों की लोकप्रिय जोड़ी में से एक थे, जिसमें दिग्गज प्रदीप कुमार और प्रसून बैनर्जी का नाम शामिल है। इस लिस्ट में क्लाइमेक्स और कोवान लॉरेंस व मोहम्मद और शफी रफी भी शामिल हैं।
1999 में थाईलैंड के खिलाफ 9वें ओलंपिक क्वालीफायर घरेलू मैच में डेब्यू करने वाले प्रशांत डोरा ने सैफ कप, सेफ गेम्स में भारत का प्रतिनिधित्व किया और पांच मैच खेले। इस दौरान भारतीय टीम ने चार ब्रॉन्ज मेडल जीते थे। प्रशांत डोरा को बंगाल के लगातार संतोष ट्रॉफी 1997-98 और 99 में जीतने पर सर्वश्रेष्ठ गोलकीपर घोषित किया गया था।
क्लब स्तर पर प्रशांत डोरा ने अपना करियर टोलीगंज आगरागामी से किया और फिर वो उन्होंने कलकत्ता पोर्ट ट्रस्ट, मोहम्मदीन स्पोर्टिंग, मोहन बगान और ईस्ट बंगाल का प्रतिनिधित्व किया।
एआईएफएफ महासचिव कुशल दास ने कहा, 'प्रशांत डोरा काफी प्रतिभाशाली गोलकीपर थे, जिन्होंने अपनी साख के साथ अंतरराष्ट्रीय और घरेलू स्तर पर फुटबॉल खेला। मेरी संवेदनाएं उनके परिवार के लिए हैं। भगवान उनकी आत्मा को शांति दे।'
प्रशांत डोरा 1999 में ईस्ट बंगाल की विजयी टीम का हिस्सा थे, जिसने सीएफएल जीता था। प्रशांत डोरा ने मोहन बगान को 2003 में आईएफए शील्ड जीतने में मदद की थी। इसके अलावा 2005 और 2005 एयरलाइंस गोल्ड कप में प्रशांत डोरा ने मोहन बगान का प्रतिनिधित्व किया था।