हमारे स्वास्थ्य के लिए मोरिंगा के अनेक फायदे होते हैं। आयुर्वेद में भी, मोरिंगा की पत्तियों और फूलों का उपयोग होता है। मोरिंगा में विटामिन और मिनरल्स का भंडार होता है। इसके सेवन से कई बीमारियों से बचाव हो सकता है। यह लेख में उन बीमरियों और परेशानियों का जिक्र किया गया है जिनके उपचार के लिए मोरिंगा का इस्तेमाल होता आ रहा है। आइये इस विषय में और जानें।
मोरिंगा से दूर होती हैं कई बीमारियां
1. सूजन की समस्या होने पर (Reduces inflammation)
मोरिंगा शरीर में होने वाली सूजन की समस्या में मददगार होता है। मोरिंगा की पत्तियों में एंटी-ऑक्सीडेंट गुण मौजूद होते हैं जो शरीर की सूजन को कम करते हैं। आर्थराइटिस, एक्जिमा, मल्टीपल स्केलेरोसिस आदि जैसी ऑटोइम्यून स्थितियों के लिए मोरिंगा का उपयोग किया जाता है। इसमें मौजूद एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण सूजन के साथ दर्द को भी कम करने में मदद करते हैं। यदि सूजन और दर्द की समस्या होने पर मोरिंगा की पत्तियों को पीसकर लेप की तरह इस्तेमाल किया जाए तो यह फायदेमंद होता है।
2. हाई ब्लड प्रेशर की समस्या होने पर (Reduces high blood pressure)
बढ़े हुए रक्तचाप को कम करने में मोरिंगा उपयोगी होता है। इसमें मौजूद एंटी-ऑक्सीडेंट सूजन को कम करने में मदद करते हैं और यह धमनियों और एंडोथेलियल लाइनिंग में प्लाक को उत्पन होने से रोकता है। मोरिंगा में मैगनिशियम होता है जो ब्लड वेसल्स को स्वस्थ रखता है। आपको बता दे कि मोरिंगा की पत्तियां बायोएक्टिव कंपाउंड की तरह काम करती हैं और यह नियाज़िमिसिन B से भरपूर होती हैं। यह हृदय सम्बंधित घातक बीमारियों से बचाव में भी सहायक हैं।
3. थाइरोइड की समस्या होने पर (Controls thyroid hormone production)
हाइपरथायरायडिज्म व हाइपोथायरायडिज्म जैसी बीमारी में मोरिंगा फायदेमंद होता है। थाइरोइड की दवा लेने वालो के लिए अपने स्तर को ट्रैक रखना जरूरी होता है और यह जानकारी आपके लिए ही है कि मोरिंगा थाइरोइड हॉर्मोन के निर्माण को कंट्रोल करता है और इसके प्रोडक्शन को नियंत्रित करता है।
4. एनीमिया होने पर (Treats anemia)
खून की कमी की बीमारी को एनीमिया कहा जाता है। मोरिंगा एनीमिया की बीमारी में फायदेमंद है। मोरिंगा में आयरन की अच्छी मात्रा होती है जो एनीमिया से बचाव में मददगार होता है। इसमें कैल्शियम, पोटेशियम, प्रोटीन, कॉपर, सेलेनियम, जिंक, मैग्नीशियम, फोलिक एसिड आदि से भरपूर है। यह पोषक तत्व शरीर को अन्य फायदे देते हैं।
5. अपच की स्थिति में (Cures indegestion)
मोरिंगा की चाय अपच की स्थिति में मददगार होती है। यह पाचन को मजबूत करने में सहायक होती है। इसके लिए- मोरिंगा को उबालकर उसकी चाय बनाकर छान कर सेवन करें। इसमें मौजूद एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण पेट के लिए अच्छे माने जाते हैं और इसके एंटी-बैक्टीरियल गुण पेट के कीड़ों को भी मारने में सक्षम हैं।
अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है। यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है। अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें। स्पोर्ट्सकीड़ा हिंदी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है।