ब्रॉक लैसनर बनाम रोमन रेंस मैच से समाप्त हो सकता है ब्रांड स्प्लिटWWE ने घोषणा कर दी है कि रेसलमेनिया (Wrestlemania) 38 में होने वाला रोमन रेंस (Roman Reigns) बनाम ब्रॉक लैसनर (Brock Lesnar) मुकाबला टाइटल यूनिफिकेशन का होगा। इस घोषणा के बाद इस मैच का महत्व और भी बढ़ गया है। इस बात में कोई शक नहीं है कि यह सालों में Wrestlemania का सबसे बड़ा मेन इवेंट मुकाबला होने वाला है।यदि यदि वर्ल्ड चैंपियनशिप यूनिफाइड हो जाएगी तो फिर दोनों ब्रांड मिलाकर WWE के पास एक ही वर्ल्ड चैंपियन रहेगा। WWE एक बार फिर से खुद को उसी परिस्थिति में पाएगी जिसमें वे 2016 में थे। 2016 में कंपनी ने ब्रांड स्प्लिट का फैसला लिया था और दो अलग-अलग वर्ल्ड चैंपियन बने थे। अब रोमन और लैसनर के बीच होने वाले मुकाबले से ब्रांड स्प्लिट पर खतरे के बादल मंडरा रहे हैं।एक नजर डालते हैं उन पांच कारणों पर जिससे इस टाइटल यूनिफिकेशन मैच से ब्रांड स्प्लिट पर कोई खतरा नहीं पड़ना चाहिए।#5 एक ही चैंपियन होने से घटेगी बड़े मैचों की संख्याब्रांड स्प्लिट होने से पहले के समय में केवल एक टॉप चैंपियन होता था। भले ही इस बात पर बहस की जा सकती है कि इससे चैंपियन की क्षमता और उसके लिए चैलेंजर्स की संख्या में बढ़ोतरी होती है, लेकिन यदि दो वर्ल्ड चैंपियन रहेंगे तो दो अच्छी फिउड देखने को मिलेगी। इससे अधिक बड़े मैच भी देखने की उम्मीद बढ़ेगी, लेकिन यह ब्रांड स्प्लिट खत्म हो जाता है तो ऐसी कोई भी चीज देखने को नहीं मिलेगी।#4 बिना अच्छी स्टोरीलाइन के हो जाएंगे कई टैलेंटेड सुपरस्टार्सब्रांड स्प्लिट से पहले फैंस के लिए सबसे बड़ी समस्या यह थी की WWE के पास स्पॉटलाइट देने के लिए काफी सुपरस्टार थे। कई टैलेंटेड रेसलर्स को बिना किसी अच्छी स्टोरीलाइन के ही काम करना पड़ता था। ब्रांड स्प्लिट से कई रेसलर को चमकने का मौका मिला। वर्तमान समय में भी ऐसे ही माहौल हैं, लेकिन यदि WWE टाइटल यूनिफिकेशन के साथ स्प्लिट को खत्म करती है तो यह भी खत्म हो जाएगा। एक बार फिर से टैलेंटेड सुपरस्टार्स खुद को बिना अच्छी स्टोरीलाइन के पाएंगे।