तीसरे मैच में घाना के विरुद्ध हार के बाद भारतीय कोच ने पत्रकारों से बातचीत में साफ़ शब्दों में कहा था कि अच्छी तकनीक वाली टीमों के साथ एक बड़े टूर्नामेंट में खेलने और एक घरेलू लीग में खेलने में बहुत अंतर होता है। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि बड़े टूर्नामेंट में सीखने का एक अलग ही माहौल होता है और निश्चित रूप से भारतीय टीम को इससे बहुत फायदा हुआ है और आगे इसके परिणाम देखने को मिलेंगे।
भारत के कप्तान अमरजीत सिंह ने भी इस बात को माना तथा यह भी कहा कि इस टूर्नामेंट के बाद भारत में भी लड़कों को 5 वर्ष की आयु से फुटबॉल का अभ्यास कराना शुरू कर दिया जाएगा क्योंकि विदेशों में ऐसे ही होता है तभी उनके खिलाड़ी मैदान पर इतनी मजबूती से खेलते हैं।