सिजोफ्रेनिया एक मानसिक बीमारी है जो दिमाग के तत्वों में हुए बदलाव के कारण होती है। इस स्थिति में इंसान को ऐसी चीजें दिखने लगती हैं जो वास्तव में नहीं होती हैं। इस बीमारी से ग्रसित इंसान को अजीब आवाजें सुनाई देती हैं जो सच नहीं है। ऐसा इंसान कल्पना की दुनिया में रहता है और वो इस स्थिति में कई बार अनजान लोगों से बात कर रहा होता है।
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अगर आपने मशहूर फिल्म 'ए ब्यूटीफुल माइंड' देखी है तो आप सिजोफ्रेनिया के बारे में जानते होंगे। इसमें दिखाए गए किरदार जॉन नैश को वास्तव में ये बीमारी थी और वो इस बीमारी से खुद को बाहर निकालने में काफी हद तक सफल रहे थे। यहाँ ये ध्यान देनेवाली बात है कि सिजोफ्रेनिया परिवार में ट्रांसफर हो सकती है और इसका सबसे बड़ा उदहारण हैं जॉन नैश के पुत्र जिन्हें सिजोफ्रेनिया की बीमारी है।
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सिजोफ्रेनिया क्या है
सिजोफ्रेनिया की बीमारी का असली कारण आजतक नहीं मालूम चला है। सिजोफ्रेनिया के कारण बोलने के तरीके में बदलाव देखने को मिलता है एवं कई अन्य बदलाव भी होते हैं। आइए आपको बताते हैं कि सिजोफ्रेनिया के दौरान क्या होता है:
कोई अनजान तंग कर रहा है - सिजोफ्रेनिया के मरीजों को ऐसा लगता है कि उन्हें कोई अनजान इंसान या शक्ति तंग कर रही है। इसके मरीज खुद में दैवीय शक्तियाँ होने तक की बातें करने लगते हैं।
हैलुसिनेशन होना - सिजोफ्रेनिया के मरीजों को ऐसी चीजें दिखती हैं जो होती नहीं हैं। उन्हें वो आवाजें सुनाई देती हैं जो वास्तव में नहीं होती हैं। यहाँ तक की उन्हें कुछ ऐसी सुगंध भी आने लगती है जो सच नहीं होती है।
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मोटीवेशन की कमी होना - सिजोफ्रेनिया के मरीजों में मोटीवेशन की कमी होती है। इन्हें किसी भी घटना में कोई भी चीज मोटिवेट नहीं करती है और ये अपनी ही दुनिया में खोए रहते हैं।
दूरी बनाना - सिजोफ्रेनिया के मरीज लोगों से दूरी बना लेते हैं क्योंकि उन्हें इस बात का डर होता है कि कोई उन्हें मारने का प्रयास कर रहा है। ऐसे लोग दवाई को भी इसी कारण से नहीं खाते हैं।